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मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
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2023 में बुद्ध पूर्णिमा कब है, जानें कैसे करें पूजन और क्या करें उपाय

Buddha Jayanti 2023
वर्ष 2023 में शुक्रवार, 5 मई को बुद्ध पूर्णिमा (buddha purnima 2023) मनाई जा रही है। प्रतिवर्ष वैशाख मास में आने वाली शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा को ही बुद्ध पूर्णिमा और वैशाख पूर्णिमा कहते हैं। सिद्धार्थ गौतम यानी भगवान गौतम बुद्ध (Gautama buddha) का जीवन दर्शन आज भी प्रासंगिक है। यह दिन गौतम बुद्ध की जयंती और उनका निर्वाण दिवस भी है। इसी दिन भगवान बुद्ध को बुद्धत्व की प्राप्ति हुई थी। 
 
हजारों साल बाद आज भी सत्य, अहिंसा, दया, करुणा, शांति और मैत्री जैसे मानवीय मूल्यों पर आधारित गौतम बुद्ध हम सभी के दिलों में बसे हुए हैं।

आइए जानते हैं बुद्ध पूर्णिमा पर कैसे करें पूजन, सरल तरीके और उपाय के बारे में...
 
 
पूजन के तरीके-Pujan VIdhi  
 
- बुद्ध जयंती अथवा वैशाख पूर्णिमा के दिन प्रात:काल नदी स्नान करना चाहिए। 
 
- नदी स्नान करने के बाद हाथ में तिल रखकर पितृ तर्पण करके पितरों को तृप्त करें तथा उनका आशीर्वाद लें।
 
- यदि नदी स्नान संभव न हो तो एक बाल्टी जल में गंगा जल मिलाकर स्नान करें। 
 
- फिर स्वच्छ वस्त्र धारण करके व्रत रखने का संकल्प लें।
 
- अब भगवान श्री विष्णु की विधि-विधान से पूजन करें। 
 
- भगवान विष्णु के सामने घी से भरा पात्र, तिल और शकर रखें।
 
- दीपक जलाते समय उसमें तिल का तेल डालकर दीया जलाएं।
 
- आरती करें। 
 
- आज के दिन बोधिवृक्ष की शाखाओं में दूध व सुगंधित जल डालकर दीया जलाएं। 
 
- पिंजरे में कैद पक्षियों को मुक्त कर आकाश में छोड़ दें।
 
- बौद्ध स्थलों पर जाकर प्रार्थना करें। 
 
- बुद्ध पूर्णिमा के दिन बौद्ध धर्मग्रंथों का पाठ करें। 
 
- अपने सामर्थ्य के अनुसार गरीबों को दान सामग्री वितरित करें। 
 
- रात्रि के समय पुष्प, धूप, दीप, खीर आदि से चंद्रमा का पूजन करें।
 
बुद्ध पूर्णिमा के उपाय- buddha purnima ke Upay
 
1. वैशाख मास में बुद्ध पूर्णिमा मनाई जाती है। अत: इस दिन शुभ मुहूर्त में नदी स्नान करने से कई जन्मों के पाप नाश को प्राप्त होते हैं। 
 
2. गौतम बुद्ध पशु हिंसा के विरोधी थे, अत: इस दिन मांसाहार न खाएं और ना खाने दें। 
 
3. वैशाख पूर्णिमा के दिन गरीबों को वस्त्र और भोजन दान में देने से गोदान के समान फल मिलता है। 
 
4. पवित्र तीर्थस्थलों पर जाकर नदी स्नान करें तथा हथेली में जल लेकर उसके काले तिल डालकर पितरों के निमित्त तर्पण करें।
 
5. बुद्ध भगवान विष्णु के नौवें अवतार माने जाते हैं, अत: इस दिन श्रीविष्णु की पूजा-अर्चना करने तथा दान करने से पुण्‍य फल की प्राप्ति होती है।
 
6. पुण्य प्राप्ति के लिए बुद्ध पूर्णिमा के दिन सत्तू, मिष्ठान्न, जल पात्र, अन्न, भोजन और वस्त्र दान करें। 
 
7. इस दिन तिल एवं शहद का दान करने से पापों से मुक्ति मिलती है। 

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