Webdunia - Bharat's app for daily news and videos

Install App

'ये सिर्फ क्रूरता है', विनेश फोगाट के खेल रत्न और अर्जुन पुरस्कार लौटाने पर राहुल गांधी का PM मोदी पर तंज

Webdunia
रविवार, 31 दिसंबर 2023 (16:49 IST)
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने महिला पहलवान विनेश फोगाट द्वारा अपना खेल रत्न और अर्जुन पुरस्कार राष्ट्रीय राजधानी के कर्तव्य पथ पर छोड़े जाने को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधानमंत्री देश के अभिभावक होते हैं और उनकी तरफ से ‘ऐसी निष्ठुरता’ देखकर दु:ख होता है।
 
राहुल गांधी का यह बयान तब आया है जब एक दिन पहले विश्व चैम्पियनशिप में कई बार की पदक विजेता विनेश फोगाट ने अपने खेल रत्न और अर्जुन पुरस्कार लौटा दिए तथा दिल्ली पुलिस द्वारा प्रधानमंत्री कार्यालय जाने से रोके जाने के बाद दोनों पुरस्कार कर्तव्य पथ के बीच में छोड़ दिए।
 
विनेश ने ओलंपिक पदक विजेता साक्षी मलिक और बजरंग पूनिया के साथ मिलकर भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के करीबी संजय सिंह के चुनाव का विरोध किया था। इन तीनों ने बृजभूषण पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था।
 
कर्तव्य पथ पर फोगाट का एक वीडियो शेयर करते हुए राहुल ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा कि देश की हर बेटी के लिए आत्मसम्मान पहले है, अन्य कोई भी पदक या सम्मान उसके बाद।
 
पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि आज, क्या एक ‘घोषित बाहुबली’ से मिलने वाले ‘राजनीतिक फायदे’ की कीमत इन बहादुर बेटियों के आंसुओं से अधिक हो गई है? प्रधानमंत्री राष्ट्र के अभिभावक होते हैं, उनकी ऐसी निष्ठुरता देख पीड़ा होती है।’’
 
फोगाट ने मंगलवार को अपना खेल रत्न और अर्जुन पुरस्कार सरकार को लौटाने का फैसला किया था तथा कहा था कि ऐसे समय में इस तरह के सम्मान बेमतलब हो गए हैं जब पहलवान न्याय पाने के लिए जूझ रहे हैं।
 
उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर अपने फैसले की घोषणा की थी।
 
फोगाट ने शनिवार को अपने पुरस्कार लौटाने के लिए प्रधानमंत्री कार्यालय पहुंचने का प्रयास किया लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक दिया। विरोध स्वरूप विनेश फोगाट ने कर्तव्य पथ पर पुरस्कार छोड़ दिए और बाद में दिल्ली पुलिस ने इन्हें उठा लिया।
संजय सिंह के डब्ल्यूएफआई प्रमुख की नियुक्ति के तुरंत बाद साक्षी ने भी कुश्ती से संन्यास की घोषणा कर दी थी।
 
खेल मंत्रालय ने हालांकि संविधान के प्रावधानों का पालन नहीं करने को लेकर डब्ल्यूएफआई के नवनिर्वाचित पैनल को निलंबित कर दिया था जबकि भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) से खेल संस्था का कामकाज देखने के लिए एक तदर्थ समिति का गठन करने के लिए कहा था।
 
खेल मंत्रालय के निर्देश पर कार्रवाई करते हुए आईओए ने बुधवार को डब्ल्यूएफआई का कामकाज चलाने के लिए तीन सदस्यीय तदर्थ समिति का गठन किया। भाषा

सम्बंधित जानकारी

जरूर पढ़ें

50 बिलियन डॉलर लागत, 9 हजार कमरे, ये है दुनिया की सबसे बड़ी इमारत मुकाब

भाजपा का आरोप, प्रियंका गांधी ने नहीं दिया संपत्ति का पूरा विवरण

चाचा के खिलाफ लड़ना चुनौती, लेकिन मैं चिंतित नहीं : युगेंद्र पवार

कोल्डप्ले और दिलजीत दोसांझ के कॉन्सर्ट के टिकटों की अवैध बिक्री, ED ने मारे 13 जगह छापे

AAP का BJP पर बड़ा आरोप, रच रही है केजरीवाल की हत्या की साजिश

सभी देखें

नवीनतम

लखनऊ के 10 होटलों को बम से उड़ाने की धमकी, 55 हजार डॉलर की मांगी फिरौती

रविवार को फिर मिली 50 उड़ानों में बम की धमकी, 14 दिनों में 350 से ज्‍यादा धमकियां

नकदी संकट से जूझ रहे पाकिस्तान ने फिर फैलाए हाथ, चीन से मांगा 1.4 अरब डॉलर का कर्ज

सचिन सावंत का कांग्रेस को झटका, क्यों नहीं लड़ना चाहते अंधेरी पश्चिम से चुनाव?

उत्तराखंड लोअर पीसीएस परीक्षा का पाठ्यक्रम बदला, 2 नए पेपर जुड़े

આગળનો લેખ