नई दिल्ली। अब तक अतीत में भूकंप से कई मौकों पर दुनिया दहल गई है। हाल में मेक्सिको में आए भूकंप के बाद दुनिया के डरे-सहमे लोगों का इस बात का अहसास हो गया है कि भूकंप जैसी घटना किसी देश के लिए कितनी विनाशकारी हो सकती है।
उल्लेखनीय है कि मेक्सिको में वर्ष 1985 में भी 19 सितंबर को भूकंप आया था। विनाशकारी भूकंप की विभीषिका नेपाल ने भी झेली और गुजरात में भुज का भूकंप भारत की बड़ी त्रासदियों में से एक था।
मेक्सिको में आए भूकंप में 230 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। शक्तिशाली भूकंप के चलते सैकड़ों इमारतें मलबे में तब्दील हो चुकी हैं। गौर करने वाली बात यह है कि यह भूकंप 1985 के विनाशकारी भूकंप की 32वीं बरसी पर आया है। 1985 में मेक्सिको में इसी दिन एक भीषण भूकंप आया था, जिसमें 10,000 लोगों की मौत हो गई थी। यह अवसर है कि हम दुनिया के उन भूकंपों पर एक नजर में डालें जिनके चलते विभिन्न देशों में भारी जान-माल का नुकसान हुआ था।
* अप्रैल 2015 : अब तक के इतिहास में दुनिया में जब कभी भूकंप आए उसमें सबसे ज्यादा जान-माल का नुकसान साल 2015 में नेपाल में आए भूकंप में हुआ। रेडक्रॉस सोसाइटी के अनुसान नेपाल भूकंप में आठ हजार से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी।
* 3 मार्च 2002 : अफगानिस्तान में आए भूकंप में 50 लोगों की मौत हो गई थी।
* 25 मार्च 2002 : अफगानिस्तान के उत्तरी इलाके में भूकंप में 800 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी।
* 13 फरवरी 2001 : अल सल्वाडोर में दूसरे बड़े भूकंप की वजह से कम से कम 300 लोग मारे गए थे। इस भूकंप को रिक्टर स्केल पर 6.6 मापा गया था।
* 26 जनवरी 2001 : भारत के गुजरात में आए भूकंप में तीन हजार से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी। करीब 10 लाख लोग बेघर हो गए।
* 13 जनवरी 2001 : अल सल्वाडोर में 700 से भी अधिक लोग मारे गए थे।
* 21 सितंबर 1999 : ताईवान में 7.6 तीव्रता का एक भूकंप आया था। इसमें ढाई हजार लोग मारे गए थे और काफी नुकसान हुआ था।
* 17 अगस्त 1999 : तुर्की के इमिट और इंस्ताबुल शहरों में रिक्टर स्केल पर 7.4 तीव्रता का भूकंप आया था। इस भूकंप की वजह से 17 हजार से अधिक लोग मारे गए थे।
* मार्च 1999 : भारत के उत्तरप्रदेश राज्य के उत्तरकाशी और चमोली में दो भूकंप आए और इनमें 100 से अधिक लोग मारे गए थे।
* जनवरी 1999 : कोलंबिया के आर्मेनिया शहर में 6.0 तीव्रता का भूकंप आया था। इसमें करीब एक हजार लोग मारे गए थे।
* जुलाई 1998 : पापुआ न्यू गिनी के उत्तरी-पश्चिमी तट पर समुद्र के अंदर आए भूकंप से बनी लहरों ने तबाही मचा दी। इसमें 1000 से भी अधिक लोग मारे गए थे।
* जून 1998 : तुर्की के दक्षिण-पश्चिम में अदना में 144 लोग मारे गए थे।
* मई 1998: उत्तरी अफगानिस्तान में एक बड़ा भूकंप आया था। इसमें चार हजार लोग मारे गए थे।
* फरवरी 1997: उत्तर-पश्चिमी ईरान में रिक्टर स्केल पर 5.5 तीव्रता का एक भूकंप आया, जिसकी वजह से एक हजार लोग मारे गए थे।
* मई 1995: रूस के सुदूर पूर्वी द्वीप सखालिन में 7.5 तीव्रता का एक शक्तिशाली भूकंप आया, जिसकी वजह से करीब दो हजार लोगों की मृत्यु हो गई थी।
* जनवरी 1995 : जापान के कोबे शहर में शक्तिशाली भूकंप में छह हजार चार सौ तीस लोग मारे गए थे।
* जून 1994 : कोलंबिया में आए भूकंप में करीब एक हजार लोग मारे गए थे।
* सितंबर 1993 : भारत के पश्चिमी और दक्षिणी हिस्सों में आए भूकंपों में करीब 10 हजार ग्रामीणों की मृत्यु हो गई थी।
* 1990 : ईरान के उत्तरी राज्य गिलान में आए एक भूकंप ने 40 हजार से भी अधिक लोगों की जान ले ली थी।
* दिसंबर 1988 : उत्तर-पश्चिमी आर्मेनिया में रिक्टर स्केल पर 6.9 तीव्रता के एक भूकंप ने पच्चीस हजार लोगों की जान ले ली थी।
* सितंबर 1985: मैक्सिको शहर एक शक्तिशाली भूकंप से बुरी तरह से हिल गया। इसमें बड़ी इमारतें तबाह हो गईं और दस हज़ार से अधिक लोग मारे गए थे।
* 1980 : इटली के दक्षिणी हिस्से में आए भूकंप की वजह से सैकड़ों लोग मारे गए थे।
* 1976 : चीन का तांगशान शहर भूकंप की वजह से मिट्टी में मिल गया था। इसमें पांच लाख से अधिक लोग मारे गए थे।
* 1964: रिक्टर स्केल पर 9.2 तीव्रता के एक भूकंप ने अलास्का में 25 लोगों की जान ले ली और बाद के झटकों की वजह से 110 और लोग मारे गए थे।
* 1960: दुनिया में अब तक का सबसे शक्तिशाली भूकंप चिली में आया। इसकी तीव्रता रिक्टर स्केल पर 9.5 दर्ज की गई। कई गांव के गांव तबाह हो गए और सैकड़ों मील दूर हवाई में 61 लोग मारे गए थे।
* 1950 : भारत के उत्तर-पूर्वी राज्य असम में भयानक भूकंप आया। यह इतना तेज था कि सिस्मोग्राफ की सुईयां टूट गईं लेकिन सरकारी तौर पर रिक्टर स्केल पर इसे 9.0 तीव्रता का बताया गया था।
* 1948: पश्चिमी जापान में पूर्वी चीनी समुद्र को केंद्र बनाकर भूकंप आया था जिसमें तीन हजार से ज्यादा लोग मारे गए थे।
* 1935: ताईवान में रिक्टर स्केल पर 7.4 तीव्रता का एक भूकंप आया, जिसकी वजह से तीन हजार दो सौ लोग मारे गए थे।
* 1931 : ब्रिटेन के इतिहास का सबसे भयानक भूकंप। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.5 थी और इससे अधिक नुकसान नहीं हुआ।
* 1923: जापान की राजधानी टोक्यो में ग्रेट कांटो भूकंप आया था। इसकी वजह से 142,800 लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा था।
* 1906: सैन फ्रांसिस्को में कई मिनट तक भूकंप के झटके आते रहे। इमारतें गिरने और उनमें आग लगने की वजह से करीब 3000 लोग मारे गए थे।