वसंत पंचमी का दिन मां सरस्वती के जन्मोत्सव का दिन है। इस दिन सरस्वती माता की पूजा की प्रथा सदियों से चली आ रही है। मान्यता है की सृष्टि के निर्माण के समय देवी सरस्वती वसंत पंचमी के दिन प्रकट हुई थीं।
अत: इस दिन को मां सरस्वती के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है, इसलिए मां सरस्वती की पूजा-अर्चना, वंदना की जाती है। इस वर्ष वसंत पंचमी 29 जनवरी 2020, बुधवार को तो मत-मतांतर के चलते कई स्थानों पर यह 30 जनवरी 2020, गुरुवार को मनाई जाएगी।
कैसे करें मां सरस्वती का पूजन : -
* वसंत पंचमी पर सरस्वती पूजा करने के लिए सबसे पहले सरस्वती माता की प्रतिमा अथवा तस्वीर को सामने रखना चाहिए।
* इसके बाद कलश स्थापित करके गणेशजी तथा नवग्रह की विधिवत पूजा करनी चाहिए।
* माता सरस्वती की पूजा करें। सरस्वती माता की पूजा करते समय उन्हें सबसे पहले आचमन एवं स्नान कराएं, इसके बाद माता को केसरिया फूल एवं माला चढ़ाएं। सरस्वती माता को सिन्दूर एवं अन्य श्रृंगार की वस्तुएं भी अर्पित करनी चाहिए।
* वसंत पंचमी के दिन सरस्वती माता के चरणों में गुलाल भी अर्पित किया जाता है। देवी सरस्वती श्वेत वस्त्र धारण करती हैं अत: उन्हें श्वेत वस्त्र पहनाएं।
* सरस्वती पूजन के अवसर पर माता सरस्वती को पीले रंग का फल चढ़ाएं। प्रसाद के रूप में मौसमी फलों के अलावा बूंदी अर्पित करना चाहिए। इस दिन सरस्वती माता को मालपुए एवं खीर का भी भोग लगाया जाता है।
* सरस्वती माता के नाम से हवन करना चाहिए। हवन के लिए हवन कुंड अथवा भूमि पर सवा हाथ चारों तरफ नापकर एक निशान बना लेना चाहिए। इसे कुशा से साफ करके गंगा जल छिड़ककर पवित्र करने के बाद आम की छोटी-छोटी लकड़ियों को अच्छी तरह बिछा लें और इस पर अग्नि प्रज्वलित करें। हवन करते समय गणेशजी व नवग्रह के नाम से भी हवन करें।
* सरस्वती माता के नाम से 'ॐ श्री सरस्वतयै नम: स्वाहा' इस मंत्र से 108 बार हवन करें।
* हवन के बाद सरस्वती माता की आरती करें और हवन की भभूत मस्तक पर लगाएं। इस तरह पूजन करने से सरस्वती देवी का आशीर्वाद प्राप्त होता है।