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तीसरी बार ओलंपिक की मेजबानी करेगा ऑस्ट्रेलिया, 2032 का ओलंपिक होगा ब्रिस्बेन में

तीसरी बार ओलंपिक की मेजबानी करेगा ऑस्ट्रेलिया, 2032 का ओलंपिक होगा ब्रिस्बेन में
, बुधवार, 21 जुलाई 2021 (18:16 IST)
ब्रिसबेन:अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति ने ब्रिसबेन को 2032 ओलिंपिक की मेजबानी के लिए चुना है। ब्रिसबेन के खिलाफ किसी शहर ने मेजबानी की दावेदारी पेश नहीं की।
 
इससे पहले मेलबर्न में 1956 में ओलिंपिक खेलों का आयोजन किया गया था। इसके बाद सिडनी में 2000 में ओलिंपिक खेलों के महाकुंभ का आयोजन हुआ था। ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मौरिसन ने अपने कार्यालय से आईओसी के मतदाताओं को 11 मिनट के लाइव वीडियो लिंक के दौरान कहा, 'हमें पता है कि ऑस्ट्रेलिया में सफल खेलों के आयोजन के लिए क्या करने की जरूरत है।'
 
ब्रिसबेन से पहले 2028 में लॉस एंजिलिस जबकि 2024 में पेरिस में ओलिंपिक खेलों का आयोजन किया जाएगा। शुक्रवार को शुरू होने वाले तोक्यो खेलों से पूर्व बैठक में आईओसी सदस्यों के आधिकारिक मुहर लगाने से महीनों पहले ऑस्ट्रेलिया के पूर्वी तटीय शहर का मेजबान बनने का रास्ता लगभग साफ हो गया था।
 
आईओसी ने फरवरी को ब्रिसबेन को बातचीत का विशेष अधिकार दिया था। इस फैसले से कतर, हंगरी और जर्मनी के ओलिंपिक अधिकारी सकते में थे क्योंकि उनकी स्वयं की दावेदारी की योजना पर पानी फिर गया था।
 
नए बोली प्रारूप के तहत ब्रिसबेन खेलों की मेजबानी के लिए चुना गया पहला शहर है। नए प्रारूप में आईओसी संभावित दावेदार से संपर्क करता है और निर्विरोध उनका चयन करता है।
 
प्रचार अभियान के खर्चे को कम करने के अलावा आईओसी को अधिक नियंत्रण देने और मत खरीदने के खतरे को हटाने के लिए इस प्रक्रिया को तैयार किया गया है। ओलिंपिक स्पर्धाओं का आयोजन पूरे क्वीन्सलैंड राज्य में किया जाएगा जिसमें गोल्ड कोस्ट शहर भी शामिल है जिसने 2018 राष्ट्रमंडल खेलों की मेजबानी की थी।
 
ऑस्ट्रेलिया के प्रधामंत्री स्कॉट मॉरिसन ने कहा कि यह ब्रिस्बेन और क्वींसलैंड के लिए ही नहीं बल्कि पूरे देश के लिए गर्व की बात है।केवल वैश्विक शहर ही ओलम्पिक खेलों की मेजबानी हासिल कर सकते हैं इसलिए यह ब्रिस्बेन की हमारे क्षेत्र के रूप में मान्यता है।
ब्रिस्बेन में आतिशबाजी

टोक्यो में आईओसी (अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति) सत्र में ब्रिस्बेन के प्रतिनिधियों ने ब्रिस्बेन के ओलंपिक खेलों की मेजबान बनने की घोषणा का स्वागत किया है। वहीं ब्रिस्बेन में इस घोषणा के बाद आतिशबाजी की गई, जहां लोग परिणामों के इंतजार के लिए इकट्ठा हुए थे।
 
ऑस्ट्रेलियाई शहर को इस साल की शुरुआत में पसंदीदा बोलीदाता नामित किया गया था और जून में आईओसी कार्यकारी बोर्ड द्वारा प्रस्तावित किया गया था। उल्लेखनीय है कि आईओसी ने लागत कम करने और शहरों के लिए प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए 2019 में अपने बोली नियमों में बदलाव किया था।
 
ब्रिस्बेन 2032 ओलंपिक का पहला भावी मेजबान है जिसे ओलंपिक मेजबानों के चुनाव के लिए नए लचीले दृष्टिकोण के तहत चुना गया है और इससे पूरी तरह लाभान्वित हुआ है। समझा जाता है कि बोली नियमाें में सुधार आईओसी को शहरों, क्षेत्रों और देशों के साथ साझेदारी में काम करने में सक्षम बनाते हैं, जाे ओलंपिक परियोजनाओं को प्रोत्साहित करने के लिए मौजूदा और अस्थायी स्थानों के उच्च प्रतिशत का उपयोग करते हैं। यह दीर्घकालिक विकास योजनाओं के साथ संरेखित होते हैं और इसमें खेल और स्थानीय समुदाय के लिए एक मजबूत दृष्टि है।
 
आईओसी के अध्यक्ष थॉमस बाक ने कहा, “ यह नया दृष्टिकोण हल्का, अधिक सहयोगी, अधिक ठोस है और इसका सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। अब हमारे पास हमेशा 2032 के लिए इच्छुक पार्टियों का एक महत्वपूर्ण पूल है और यहां तक कि 2040 के लिए भी, जो अब से लगभग 20 साल बाद है। मुझे याद नहीं है कि हम ओलंपिक खेलों से 20 साल पहले कभी इतनी अनुकूल स्थिति में रहे हैं या नहीं। ”
 
2032 ओलंपिक खेलों की मेजबानी मिलने के साथ ही ऑस्ट्रेलिया अमेरिका के बाद तीन अलग-अलग शहरों में ग्रीष्मकालीन ओलंपिक खेलों की मेजबानी करने वाला दुनिया का दूसरा देश बन गया है।

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