पणजी। मनोहर पर्रिकर के निधन के बाद भाजपा नेता प्रमोद सावंत ने राजभवन जाकर आधी रात को (1.50) मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। सावंत के साथ विजय सरदेसाई और सुदीन धावलीकर ने भी उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। तीनों नेताओं को राज्यपाल मृदुला सिन्हा ने राजभवन में ही पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। सावंत ने कोंकणी भाषा में शपथ ली। मुख्यमंत्री के अलावा 11 अन्य मंत्रियों ने भी शपथ ली। शपथ का कार्यक्रम रात 2.12 बजे तक चला।
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने राज्यपाल को विधायकों का समर्थन पत्र सौंपा। गडकरी ने कहा कि हमें सहयोगी दलों का समर्थन प्राप्त है। राजभवन में भाजपा और सहयोगी विधायक भी मौजूद थे। राजभवन में ही रात 1 बजे बाद विधायकों की परेड कराई गई।
आधी रात को राजभवन में गूंजा राष्ट्रगान : गोवा के नए मुख्यमंत्री का शपथ ग्रहण समारोह रात 11 बजे होना था लेकिन शुरू हुआ आधी रात 1.50 के बाद। राज्यपाल रात 1.47 पर आईं और उनके आने के बाद राजभवन में राष्ट्रगान 'जन गण मन अधिनायक जय हो भारत भाग्य विधाता...' गूंजा। बहुत कम मौके ऐसे आए हैं जब आधी रात को राष्ट्रगान हुआ हो। राष्ट्रगान के बाद मुख्यमंत्री का शपथ विधि कार्यक्रम शुरू हुआ।
भाजपा ने मुझे बड़ी जिम्मेदारी दी है : गोवा के नए मुख्यमंत्री सावंत ने शपथ लेने के पूर्व कहा कि पार्टी ने मुझे बड़ी जिम्मेदारी सौंपी है, जिसे मैं ईमानदारी से निभाऊंगा। सावंत ने कहा कि उन्हें राजनीति में लाए जाने का श्रेय दिवंगत मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर को है।
गोवा में भारतीय जनता पार्टी के सत्ता में बने रहने के लिए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी सक्रिय भूमिका में थे। सहयोगी दलों के समर्थन से भाजपा ने सरकार बनाने का दावा पेश किया है। भाजपा ने गोवा फॉरवर्ड पार्टी (जीएफपी) के मुखिया और महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी (एमजीपी) के विधायक को उपमुख्यमंत्री पद का ऑफर दिया था जिसे उन्होंने स्वीकार कर लिया।
गोवा फॉरवर्ड पार्टी के प्रमुख हैं- विजय सरदेसाई और महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी से सुदीन धावलीकर विधायक हैं। जब मनोहर पर्रिकर गोवा के मुख्यमंत्री थे तब उनके कार्यकाल में उपमुख्यमंत्री पद का कोई फॉर्मूला लागू नहीं था।
गोवा फॉरवर्ड पार्टी के 3, महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी के 3 और 3 निर्दलीय विधायकों के साथ भाजपा विधायकों की बैठक रविवार के अलावा सोमवार को भी हुई। सोमवार की बैठक में नितिन गडकरी ने हिस्सा लिया और 2 उपमुख्यमंत्री के फॉर्मूले के साथ 40 सदस्यों वाली विधानसभा में भाजपा के 12 विधायक होने बाद भी वह सत्ता पर काबिज होने रही है जबकि इस समय कांग्रेस 14 विधायकों के साथ राज्य में सबसे बड़ी पार्टी होने के बाद भी सत्ता पाने का सपना पूरा नहीं कर पाई है।
गोवा कांग्रेस के सभी विधायकों ने सोमवार को राज्यपाल मृदुला सिन्हा से मुलाकात की और तटीय राज्य में सरकार बनाने का दावा पेश किया। विपक्ष के नेता चंद्रकांत कावलेकर के नेतृत्व में सभी 14 कांग्रेसी विधायक राजभवन गए और सिन्हा को यह कहते हुए एक पत्र सौंपा था कि उनकी विधानसभा में सबसे बड़ी पार्टी है और उन्हें सरकार बनाने की अनुमति दी जानी चाहिए लेकिन भाजपा के 2 उपमुख्यमंत्री के दांव ने उसकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया।