जम्मू। इस साल के पहले 3 हफ्ते में जम्मू संभाग 3 खतरनाक हमलों से दहल चुका है। 7 लोग जान भी गंवा चुके हैं और दर्जनभर जख्मी हैं। इसके बावजूद दावा यही किया जा रहा है कि परिंदा भी पर नहीं मार सकता है।
जम्मू में ताजा आतंकी हमला दोहरे बम विस्फोटों के साथ उस समय हुआ जब पूरे प्रदेश में 'भारत जोड़ो यात्रा' और गणतंत्र दिवस समारोह के उपलक्ष्य में हाईअलर्ट मोड में सुरक्षाबल चप्पे-चप्पे को छान रहे थे। कल नरवाल इलाके में होने वाले विस्फोट कोई पहली बार नहीं थे पर इतना जरूर था कि पहली बार कुछ मिनटों के अंतराल के बाद हुए दो विस्फोटों ने सुरक्षाबलों को चौंका दिया है।
हालांकि 24 घंटे बीत जाने के उपरांत भी सुरक्षाधिकारी यह पता नहीं लगा पाए हैं कि धमाके कैसे हुए थे, पर सूत्र इतना जरूर दावा करते थे कि नरवाल में आतंकियों के स्लीपर सेल बहुत बड़ी संख्या में सक्रिय हैं, यह उनका काम हो सकता है।
जानकारी के लिए नरवाल से सटे बठिंडी इलाके से पहले भी कई बार आतंकी व उनके कई सहयोगी पकड़े जा चुके हैं। ऐसे में नरवाल के दूसरी ओर सटे रेलवे स्टेशन पर आतंकी खतरा मंडरा रहा है, इससे कोई इनकार नहीं कर रहा है।
वैसे सुरक्षाधिकारी दबे स्वर में स्वीकार करते थे कि जम्मू संभाग अब आतंकी निशाने पर है क्योंकि कश्मीर में सुरक्षाबलों के दबाव के चलते आतंकी अब दक्षिण का रुख कर रहे हैं। राजौरी के डांगरी में हुए दोहरे आतंकी हमले तथा कुछ दिन पहले नरवाल से 10 किमी दूर सिद्दड़ा पुल पर मारे गए चार आतंकियों के मामलों को ये अधिकारी इसी के साथ जोड़कर देखते हैं।