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Ram Lala Surya Tilak: रामनवमी पर सूर्य की किरणों से होगा रामलला का तिलक, ट्रायल हुआ पूरा

Ram Navami 2024 पर सूर्य की किरणों से होगा सूर्यवंशी रामलला का मस्ताभिषेक

Ram Lala Surya Tilak: रामनवमी पर सूर्य की किरणों से होगा रामलला का तिलक, ट्रायल हुआ पूरा

WD Feature Desk

, शुक्रवार, 12 अप्रैल 2024 (16:58 IST)
Surya Tilak Ramlala on Ram Navami 2024 : अंतरिक्ष वैज्ञानिकों की एक टीम के सुझाए अनुसार होगा ये चमत्कार। राम मंदिर के तीन मंजिला भवन में गर्भगृह में श्री रामलला की मूर्ति विराजमान है। ठीक रामनवमी को यह चमत्कार होगा। सूर्य की किरणों से होगा रामलला का अभिषेक। वैज्ञानिकों ने विशेष दर्पण और लेंस-आधारित उपकरण तैयार किया है। इस उपकरण को आधिकारिक तौर पर 'सूर्य तिलक तंत्र' नाम दिया गया है, हर नाम नवमी के दिन भगवान राम के मस्तष्क पर सूर्य की किरणों से होगा अभिषेक। राम जन्मोत्सव के अवसर पर सूर्य की रश्मियां तीन तल के राम मंदिर के भूतल पर पर स्थापित रामलला के ललाट पर उतरकर उनका अभिषेक करेंगी।
 
  • रामनवमी पर होगा विज्ञान का चमत्कार
  • गर्भगृह में विराजमान रामलला के मस्तक पर होगा सूर्य तिलक
  • सूर्य की किरणें ठीक 12 बजे रामलला के मस्तिष्क पर रहेंगी
  • पूरी दुनिया देखेगी यह चमत्कार, ट्रायल हुआ सफल
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राममंदिर ट्रस्ट के अनुसार सूर्य तिलक के इस प्रोजेक्ट को रुड़की के सेंट्रल बिल्डिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट के वैज्ञानिक संभालेंगे। इस प्रोजेक्ट को सफल बनाने के लिए मिरर, लेंस व पीतल का प्रयोग किया जा रहा है। इसको बिना बिजली व बैटरी की मदद से किया जाएगा। हर साल रामनवमी के अवसर पर रामलला का सूर्य तिलक किया जाएगा।
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ढाई से पांच मिनट के लिए होगा सूर्य तिलक:  बताया जा रहा है कि रामनवमी के दिन मध्यकाल में श्रीराम का जन्म हुआ था। ठीक उसी समय यानी करीब 12 बजे ढाई से पांच मिनट के लिए रामलला का सूर्य की किरणों से तिलकाभिषेक किया जाएगा। इस दौरान सूर्य की किरणें रामलला के ऊपर सीधे गिरेंगी। विज्ञान के इस चमत्कार को दुनियाभर में देखा जा सकेगा। इस दौरान राम जन्मोत्सव की धूम सभी ओर होगी।
मंदिर की व्यवस्था को संभालने वाले विहिप नेता गोपाल ने के अनुसार सोमवार के दिन इस प्रोजेक्ट का सफल परीक्षण भी कर लिया गया है। जानकारों का कहना है कि इस तरह के मंदिर बहुत कम ही देखने को मिलते हैं, जहां भगवान का सूर्य की किरणों से तिलक होता हो। श्री रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने इस प्रोजेक्ट की परिकल्पना बहुत पहले से ही कर रखी थी।

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