Webdunia - Bharat's app for daily news and videos

Install App

चातुर्मास के नियम : क्या करें और क्या भूलकर भी न करें

Webdunia
मंगलवार, 5 जुलाई 2022 (11:53 IST)
Chaturmas 2022 : देवशयनी एकादशी से चातुर्मास प्रारंभ हो रहा है। कहते हैं कि चातुर्मास में व्रत, तप और साधना करने से बहुत जल्दी लाभ मिलता है। इस माह के नियमों का पालन कर लिया तो सभी तरह के रोग और शोक मिट जाते हैं। चातुर्मास के 4 माह क्या करें और क्या नहीं, आओ जानते हैं।
 
व्रत, भक्ति और शुभ कर्म के 4 महीने को हिन्दू धर्म में 'चातुर्मास' कहा गया है। चातुर्मास 4 महीने की अवधि है, जो आषाढ़ शुक्ल एकादशी से प्रारंभ होकर कार्तिक शुक्ल एकादशी तक चलता है। चातुर्मास के प्रारंभ को 'देवशयनी एकादशी' कहा जाता है और अंत को 'देवोत्थान एकादशी'। उक्त 4 माह हैं- श्रावण, भाद्रपद, आश्‍विन और कार्तिक।
 
चातुर्मास में क्या करें- chaturmas me kya karna chahiye :
 
1. व्रत : कुछ लोग चार माह तक एक समय भी भोजन करते हैं, जबकि साधक लोग फलाहार ही लेते हैं। इस दौरान राजसिक और तामसिक खाद्य पदार्थों का त्याग कर देते हैं। व्रत को खंडित नहीं करना चाहिए। नियम का पालन कर सको तभी चतुर्मास करना चाहिए।
 
2. तप : इस दौरान साधक लोग, फर्श या भूमि पर ही सोते हैं। प्रतिदिन ध्यान, साधना या तप करते हैं। साधुजन योग, तप और साधना करते हैं आमजन भक्ति और ध्यान करते हैं।
 
3. संयम : चार माह ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए। ऐसा करने से शक्ति का संचय होता है।
 
4. मौन : इन चार माह साधक लोग मौन ही रहते हैं। मौन से मन की शक्ति बढ़ती है।
 
5. दिनचर्या : प्रतिदिन अच्‍छे से स्नान करते हैं। उषाकाल में उठते हैं और रात्रि में जल्दी सो जाते हैं। 
 
6. पूजा-प्रार्थना : नित्य सुबह और शाम को प्रार्थना, पूजा या संध्यावंदन करते हैं। नित्य विष्णुजी का ध्यान करते हैं। विष्णु जी के साथ ही लक्ष्मी, शिव, पार्वती, गणेश, पितृदेव, श्रीकृष्‍ण, राधा और रुक्मिणीजी की पूजा करते हैं।
 
7. सत्संग : इन चार माह में साधुओं के साथ सत्संग करने से जीवन में लाभ मिलता है।
 
8. दान : इन चार माहों में यथा शक्ति दान करते हैं।
 
9. यज्ञोपवीत : यज्ञोपवीत धारण करते हैं या उनका नवीनीकरण करते हैं।
 
10. तर्पण : उक्त चार माहों में पितरों के निमित्त पिंडदान या तर्पण करने से उनकी आत्मा को शांति मिलती है।
Vivah Muhurat 2022
चातुर्मास में क्या नहीं करें-Chaturmas me kya nahi khana chahiye :
1. संस्कार और मांगलिक कार्य : चार माह में विवाह संस्कार, जातकर्म संस्कार, गृहप्रवेश आदि सभी मंगल कार्य निषेध माने गए हैं।
 
2. केश कर्तन : उक्त चार माह बाल और दाढ़ी नहीं कटवाते हैं।
 
3. कटु वचन : इन 4 महीनों में क्रोध, ईर्ष्या, असत्य वचन, अभिमान आदि भावनात्मक विकारों से बचते हैं। 
 
4. यात्रा नहीं करते : उक्त चार माह में यदि व्रत धारण करके नियमों का पालन कर रहे हैं तो यात्रा नहीं करते हैं।
 
5. मन संयम : इन चार माह में व्यर्थ वार्तालाप, झूठ बोलना, अनर्गल बातें, मनोरंजन के कार्य आदि त्याग देते हैं।
 
6. त्याज्य पदार्थ : चातुर्मास में तेल से बनी चीजों का सेवन न करें, दूध, शकर, दही, तेल, बैंगन, पत्तेदार सब्जियां, नमकीन या मसालेदार भोजन, मिठाई, सुपारी, मांस और मदिरा का सेवन नहीं किया जाता। श्रावण में पत्तेदार सब्जियां यथा पालक, साग इत्यादि, भाद्रपद में दही, आश्विन में दूध, कार्तिक में प्याज, लहसुन और उड़द की दाल, आदि का त्याग कर दिया जाता है। 

सम्बंधित जानकारी

सभी देखें

ज़रूर पढ़ें

Guru Pushya Nakshatra 2024: पुष्य नक्षत्र में क्या खरीदना चाहिए?

जानिए सोने में निवेश के क्या हैं फायदे, दिवाली पर अच्छे इन्वेस्टमेंट के साथ और भी हैं कारण

झाड़ू से क्या है माता लक्ष्मी का कनेक्शन, सही तरीके से झाड़ू ना लगाने से आता है आर्थिक संकट

30 को या 31 अक्टूबर 2024 को, कब है नरक चतुर्दशी और रूप चौदस का पर्व?

गुरु पुष्य योग में क्यों की जाती है खरीदारी, जानें महत्व और खास बातें

सभी देखें

धर्म संसार

Diwali Muhurat Trading 2024: कब होगा शेयर बाजार में दिवाली का मुहूर्त ट्रेडिंग 31 अक्टूबर या 01 नवंबर, NSE ने किया स्पष्ट

24 अक्टूबर 2024 : आपका जन्मदिन

24 अक्टूबर 2024, गुरुवार के शुभ मुहूर्त

Dhanteras jhadu: धनतेरस पर कौन सी और कितनी झाड़ू खरीदें?

दीपावली पर कैसे पाएं परफेक्ट हेयरस्टाइल? जानें आसान और स्टाइलिश हेयर टिप्स

આગળનો લેખ
Show comments