जम्मू। श्रीनगर के कर्ण नगर क्षेत्र में सुरक्षाबलों के हाथ 32 घंटे बाद आखिर कामयाबी हाथ लग ही गई है। सेना ने दो आतंकियों को ढेर कर दिया है। फिलहाल सेना का तलाशी अभियान जारी है। इस बीच जम्मू में सेना के एक शिविर पर संदिग्ध आतंकवादी हमले को विफल किए जाने के बाद सुरक्षाबलों ने आज जम्मू में एक वृहद तलाशी अभियान शुरू किया। जम्मू शहर में आर्मी कैंप पर हमला करने की कोशिश के बाद जम्मू शहर के नागरिक डरे हुए जरूर हैं।
कर्णनगर में जारी मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने दोनों आतंकियों को मार गिराया है। फिलहाल आतंकी ठिकाना बनी इमारत की तलाशी ली जा रही है। ग्रीष्मकालीन राजधानी के कर्णनगर में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच गत सोमवार को शुरु हुई मुठभेड़ बीती रात करीब चार घंटे बंद रहने के बाद मंगलवार की सुबह पुनः शुरु हो गई। इस बीच, शहीद सीआरपीएफ कर्मी मुजाहिद खान का पार्थिव शरीर पूरे राष्ट्रीय सम्मान के साथ हवाई जहाज के जरिए पटना, बिहार भेजा गया।
इस हमले से पहले सुंजवां हमले में भी सात जवान शहीद हो गए हैं। जम्मू कश्मीर के उप मुख्यमंत्री निर्मल सिंह की मानें तो सुंजवां आतंकी हमले में शामिल आतंकी दक्षिण कश्मीर के त्राल से आए थे, न कि पाकिस्तान से। वहीं रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने पाकिस्तान को चेतावनी दी है और कहा कि सुंजवां आतंकी हमले का खामियाजा उसे भुगतना पड़ेगा। अभी यह सिर्फ साल की शुरुआत है और अब तक 26 जवान शहीद हो चुके हैं। जम्मू कश्मीर में सेना और सुरक्षाबलों के लिए साल 2018 सबसे खतरनाक साल साबित हो चुका है।
गौरतलब है कि गत सोमवार की तड़के स्वचालित हथियारों से लैस दो आतंकियों ने कर्णनगर स्थित सीआरपीएफ की 23वीं वाहिनी मुख्यालय पर हमले का प्रयास किया था, लेकिन सजग संतरी की त्वरित कार्रवाई पर आतंकियों को भागना पड़ा। इसके बाद सुरक्षाबलों ने जब आसपास के इलाके की तलाशी ली तो वाहिनी मुख्यालय से कुछ ही दूरी पर स्थित एक इमारत में छिपे आतंकियों ने फायरिंग कर दी। इसमें एक जवान शहीद हो गया। अन्य जवानों ने अपनी पोजीशन ली और जवाबी फायर किया। इसके बाद वहां मुठभेड़ शुरु हो गई।
केन्द्रीय रिजर्व पुलिसबल (सीआरपीएफ) बटालियन मुख्यालय के समीप मकान में लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी छिपे हुए थे। सुरक्षाबलों ने आज सुबह फिर से उनके खिलाफ अभियान शुरू किया था। उल्लेखनीय है कि सीआरपीएफ शिविर पर सोमवार सुबह आतंकवादियों के एक फिदायीन हमले को सतर्क संतरी ने विफल कर दिया और इसके बाद हुई मुठभेड़ में एक सीआरपीएफ जवान मुजाहिद खान शहीद हो गया तथा एक पुलिस का जवान गंभीर रूप से घायल हो गया था।
आधिकारिक सूत्रों ने आज सुबह बताया कि सूरज की पहली किरण के साथ ही सुरक्षाबलों ने मकान में छिपे आतंकवादियों के खिलाफ अभियान शुरू कर दिया। हालांकि आतंकवादियों ने फिर से सुरक्षाबलों पर अंधाधुंध गोलीबारी की। पूरे इलाके की घेराबंदी की गई है ताकि आतंकवादियों के भागने के प्रयासों को नाकाम किया जा सके। रात में रूक-रूक कर गोली चलने की आवाज सुनी गई। एक स्थानीय निवासी ने कहा कि गोलीबारी सुबह सवा छह बजे शुरू हुई। उन्होंने कहा, मुठभेड़ स्थल से तेज विस्फोट की आवाज सुनी गईं।
सीआरपीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि दो आतंकवादियों के एक समूह ने सीआरपीएफ बटालियन मुख्यालय में प्रवेश करने की कोशिश की लेकिन मुख्य द्वार पर तैनात संतरी ने उनकी कोशिशों को विफल कर दिया, हालांकि इस बीच आतंकवादी भागकर समीप के मकान में छिप गए। अतिरिक्त सुरक्षाबल तथा स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) के पहुंचने के तुरंत बाद इलाके में घेराबंदी की गई थी।
दूसरी ओर जम्मू में सेना के एक शिविर पर संदिग्ध आतंकवादी हमले को विफल किए जाने के बाद सुरक्षाबलों ने आज जम्मू में एक वृहद तलाशी अभियान शुरू किया। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। इससे तीन दिन पहले जैश-ए-मोहम्मद संगठन द्वारा सुंजवां सैन्य स्टेशन पर किए गए घातक हमले में 11 लोगों की मौत हो गई थी।
जम्मू के सैन्य प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल देवेंद्र आनंद ने बताया, जम्मू शहर के दोमाना इलाके में एक हमले (शिविर पर) को नाकाम कर दिया गया और आतंकवादी फरार हो गए। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि माना जा रहा है कि मोटरसाइकल पर सवार दो आतंकवादी सुबह साढ़े चार बजे जम्मू-अखनूर मार्ग पर दोमाना कैंप के मुख्य द्वार तक पहुंच गए थे। सुरक्षा अधिकारियों ने उन्हें रूकने का संकेत दिया तो उन्होंने संतरी चौकी पर गोली चला दी, जिसके बाद सुरक्षा अधिकारियों ने जवाबी कार्रवाई की।
अधिकारी ने बताया, जांच शुरू कर दी गई है और फरार आतंकवादियों का पता लगाने के लिए एक तलाशी अभियान जारी है। साथ ही उन्होंने बताया कि इलाके में अलर्ट जारी कर दिया गया है। शनिवार को जम्मू के सुंजवां इलाके में पाकिस्तानी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के हथियारबंद आतंकियों ने सेना के शिविर पर हमला कर दिया था, जिसके बाद दोनों और से गोलीबारी शुरू हो गई थी।
इस घटना में 7 सैनिक शहीद हो गए थे जबकि एक नागरिक की मौत हो गई थी। सुरक्षाबलों ने सभी आतंकियों को भी मार गिराया था। हमले के बाद हालात का जायजा लेने के लिए कल रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने जम्मू का दौरा किया था। उन्होंने हमले के लिए पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराया और कहा कि उसे इसकी कीमत चुकानी होगी। सीतारमण से पूछा गया था कि क्या भारत सरकार पाकिस्तान के साथ सबूत साझा कर रही है तब उन्होंने कहा, हां। उन्होंने कहा हां, सभी सबूत एकत्र करने के बाद सिलसिलेवार किए जाएंगे और उन्हें हमेशा की तरह ही पाकिस्तान को दिया जाए, लेकिन एक के बाद एक सबूत देने के बावजूद पाकिस्तान ने कोई कार्रवाई नहीं की।
अब तक कितने शहीद :
31 दिसंबर 2017 : पुलवामा के अवंतिपोरा सेक्टर के लेथपोरा इलाके में सीआरपीएफ के कमांडो ट्रेनिंग सेंटर पर फिदायीन हमला, पांच जवान शहीद।
3 जनवरी 2018 : जम्मू में पाकिस्तान की ओर से फायरिंग में बीएसएफ जवान शहीद।
6 जनवरी 2018 : सोपोर में आईईडी ब्लास्ट, चार पुलिसकर्मी शहीद कई घायल, हमले की जिम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद ने ली।
13 जनवरी 2018 : सुंदरबनी सेक्टर में सरहद पार से पाकिस्तान की फायरिंग में लांस नायक योगेश मुरलीधर भड़ाने शहीद।
18 जनवरी 2018 : जम्मू कश्मीर में आरएसपुरा सेक्टर में पाकिस्तान की ओर से फायरिंग, बीएसएफ का एक हेड कांस्टेबल शहीद।
19 जनवरी 2018 : पाकिस्तान की ओर से बॉर्डर पर करीब 40 जगहों पर फायरिंग, बीएसएफ जवान शहीद।
20 जनवरी 2018 : जम्मू कश्मीर के चार जिलों में आईबी और एलओसी पर भारतीय चौकियों पर फायरिंग और गोलाबारी में दो जवान शहीद।
4 फरवरी 2018 : पाकिस्तान की ओर से एलओसी पर फायरिंग, चार जवान शहीद।
11 फरवरी 2018 : जम्मू के सुंजवान में सेना के कैंप पर हुए आतंकी हमले में सेना के 6 जवान शहीद।
12 फरवरी 2018 : श्रीनगर में करन सेक्टर में सीआरपीएफ कैंप पर हमले की कोशिश हुई, सीआरपीएफ का एक जवान शहीद।