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मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
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कश्मीर में सुरक्षाबलों ने तेज किए आतंकियों पर हमले

कश्मीर में सुरक्षाबलों ने तेज किए आतंकियों पर हमले
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सुरेश डुग्गर

श्रीनगर। पिछले साल सुरक्षाबलों ने कश्मीर में 88 के करीब अपने जवान खोए थे। पिछले साल का यह आंकड़ा 10 सालों का सबसे बड़ा आंकड़ा था। इस क्षति का ही परिणाम था कि अब सुरक्षाबलों ने आतंकियों, उनके ठिकानों तथा उनके समर्थकों पर ताबड़तोड़ हमले आरंभ किए हैं। नतीजा सामने है। इस महीने ही उसने दर्जनभर आतंकी कमांडरों को ढेर कर यह दर्शाया है कि सुरक्षाबल आतंकी हमलों से घबराए नहीं हैं और न ही अपने जवानों की मौतों के कारण सुरक्षाबलों का मनोबल टूटा है।
 
यह सच है कि सुरक्षाबलों ने हालिया सप्ताहों में आतंकवादरोधी अभियानों में तेजी लाते हुए स्थानीय और विदेशी दोनों दर्जनभर के करीब आतंकियों को मार गिराया है। इन आतंकियों में लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिदीन आतंकी संगठनों के शीर्ष कमांडर भी शामिल हैं।
 
जम्मू कश्मीर सरकार ने हाल ही में कहा था कि 2015 की तुलना में आतंकवाद संबंधित गतिविधियों में वृद्धि हुई है और आतंकवाद को चुनौती देने के लिए कई उपायों को किया गया है जिनमें विभिन्न एजेंसियों के बीच घनिष्ठ समन्वय, आतंकवाद विरोधी ग्रिड को मजबूत करना और वास्तविकता के आधार पर खुफिया एजेंसियों के बीच खुफिया सूचनाओं को साझा करना शामिल है।
 
सरकार ने कहा था कि राज्यभर में आतंकवाद संबंधित गतिविधियों में वृद्धि हुई है। वर्ष 2014 में 151 घटनाओं की तुलना में 2015 में 143 घटनाओं को अनुभव किया गया। वहीं 2016 में 243 घटनाओं को अनुभव किया गया।
 
पिछले साल 8 जुलाई को हिजबुल कमांडर बुरहान वानी की मौत के बाद घाटी में छह महीने तक हिंसक प्रदर्शनों और अशांति का अनुभव किया गया। कई युवकों ने आतंकवाद में शामिल होने के लिए पुलिस अधिकारियों से हथियार छीनना शुरु कर दिया। आतंकी कमांडर वानी के मारे जाने के बाद घाटी में आतंकियों द्वारा 17 एके-राइफलों और 7 हजार से ज्यादा कारतूसों सहित 66 हथियारों को छीनने की कामयाबी हासिल की थी।
 
पिछले साल जुलाई महीने से लगभग 59 स्थानीय युवक आतंकी रैंकों में शामिल हो गए हैं। आतंकवाद विरोधी अभियानों को अशांति के छह महीनों के दौरान रोक दिया गया था, लेकिन नवंबर महीने से फिर से बहाल कर दिया गया है।
 
पुलिस और विभिन्न एजेंसियों से आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, राज्य में विदेशी आतंकियों सहित लगभग 275-300 आतंकी सक्रिय हैं। मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने पुलिस से स्थानीय आतंकियों को आत्मसमर्पण करने के लिए मनाने का आग्रह किया था।

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