नई दिल्ली। वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) के तहत बिक्री की जानकारी और कर संबंधी रिटर्नों में बडे अंतर सामने आ रहे हैं और सरकार गलत जानकारी देने वालों पर जल्द कार्रवाई कर सकती है।
जीएसटी परिषद की शनिवार को हुई बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा की गई। बैठक में बताया गया कि केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड तथा जीएसटी नेटवर्क (जीएसटीएस) ने कई आंकड़ों का विस्तार से विश्लेषण शुरू कर दिया है।
आरंभिक नतीजों में कई रोचक तथ्य सामने आए हैं। स्वघोषित जीएसटीआर-1 और जीएसटीआर 3 बी फार्मों के आंकड़ों में बड़ा अंतर देखा जा रहा है। इसके अलावा निर्यातकों द्वारा आयातित कच्चे माल तथा अन्य उत्पादों पर अदा किए गए कर और जीएसटीआर 3 बी के तहत मांगे गए इनपुट टैक्स क्रेडिट में भी अंतर देखा जा रहा है इसलिए परिषद ने इन सूचनाओं का और विश्लेषण करने का निर्णय लिया है तथा कहा है कि गलत सूचना देने वालों पर उचित कार्रवाई की जा सकती है। (वार्ता)