नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने एक बड़ा खुलासा करते हुए दावा किया कि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) के विदेश में रहने वाले कुछ सदस्यों ने भारत में प्रवासी भारतीयों (NRI) खातों में कोष भेजा जिसे बाद में कट्टरपंथी इस्लामी संगठन को स्थानांतरित कर दिया गया। इसका मकसद विदेशी वित्तोषण से संबंधित कानून से बचना था।
ईडी ने आरोप लगाया कि पीएफआई ने विदेश में कोष इकट्ठा किया और उसे हवाला/अन्य माध्यम से भारत भेजा। ईडी ने कहा कि कोष पीएफआई/सीएफआई और अन्य संबंधित संगठनों के सदस्यों, कार्यकर्ताओं या पदाधिकारियों के खातों के जरिए भी भेजा गया।
जांच एजेंसी ने कहा कि विदेश से हासिल कोष को सरकारी एजेंसियों से छुपाया गया और पीएफआई द्वारा ऐसे कोष और चंदा को जुटाने में नियमों का पालन नहीं किया गया, क्योंकि वह विदेशी योगदान विनियमन अधिनियम (FCRA) के तहत पंजीकृत नहीं है।
उल्लेखनीय है कि एक दिन पहले राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (NIA) ने पीएफआई के खिलाफ देशभर में 96 ठिकानों पर छापे मारे थे और उसके 106 सदस्यों को गिरफ्तार किया था। दावा किया जा रहा है इस संगठन पर जल्द ही देश में प्रतिबंध लग सकता है।