नई दिल्ली। आईसीसी विश्व कप क्रिकेट टूर्नामेंट (World Cup 2019) इंग्लैंड में 30 मई से शुरु हो रहा है। इंग्लैंड की स्विंग और उछाल लेने वाली पिचों पर भारत की खिताब जिताने की उम्मीदों का दारोमदार बहुत हद तक शिखर धवन और रोहित शर्मा की अनुभवी ओपनिंग जोड़ी पर निर्भर करेगा।
शिखर और रोहित की जोड़ी इस समय विश्व क्रिकेट में सबसे अनुभवी ओपनिंग जोड़ी मानी जाती है और ओपनिंग में बाएं तथा दाएं हाथ का तालमेल विपक्षी टीमों के लिए सिरदर्द रहता है। शिखर और रोहित लम्बे अरसे से भारत के लिए खेल रहे हैं और एक-दूसरे को बखूबी समझते हैं।
भारतीय वनडे टीम के उपकप्तान रोहित के नाम एकदिवसीय क्रिकेट में 264 रन की सबसे बड़ी पारी खेलने का विश्व रिकॉर्ड है और उनके नाम वनडे में तीन दोहरे शतक दर्ज हैं। 'हिटमैन' के नाम से मशहूर रोहित वनडे में 206 मैचों में 8010 रन बना चुके हैं, जिसमें 22 शतक और 41 अर्धशतक शामिल हैं। इन 22 शतकों में से 13 शतक तो विदेशी जमीन पर बने हैं। उन्होंने इंग्लैंड की जमीन पर दो शतक बनाए हैं।
बाएं हाथ के बल्लेबाज शिखर ने 128 वनडे में 16 शतकों और 27 अर्धशतकों की मदद से 5355 रन बनाए हैं। शिखर के 16 शतकों में से 11 शतक तो विदेशी जमीन पर बने हैं। उन्होंने इंग्लैंड की जमीन पर तीन शतक बनाए हैं।
हाल में समाप्त हुए आईपीएल में दोनों ओपनरों का प्रदर्शन संतोष जनक रहा था। दिल्ली कैपिटल्स की तरफ से खेलने वाले शिखर ने 16 मैचों में 521 रन बनाए और सर्वाधिक रन बनाने में वह चौथे स्थान पर रहे। उनके इस प्रदर्शन ने दिल्ली को छह साल बाद प्लेऑफ में पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
आईपीएल-12 में चैंपियन बनी टीम मुंबई इंडियंस के कप्तान रोहित ने 15 मैचों में 405 रन बनाए। हालांकि रन बनाने के मामले में रोहित थोड़ा पीछे रहे लेकिन इंग्लैंड में उन पर काफी दारोमदार रहेगा।
भारत की विश्व कप टीम में तीसरे ओपनर और शीर्ष क्रम के बल्लेबाज के रूप में लोकेश राहुल मौजूद हैं जिन्होंने आईपीएल में 14 मैचों में 593 रन बनाए और सर्वाधिक रन बनाने में डेविड वॉर्नर के बाद दूसरे स्थान पर रहे। यदि विश्व कप में शिखर या रोहित में से किसी का प्रदर्शन उम्मीदों के अनुरूप नहीं रहता हैं तो राहुल उनकी जगह ले सकते हैं।
एकदिवसीय क्रिकेट के इतिहास पर नजर डाली जाए तो शिखर और रोहित चौथी सबसे सफल जोड़ी है। दोनों ने 101 मैचों में 45.41 के औसत से 4541 रन जोड़े हैं, जिनमें 15 शतक और 13 अर्धशतक शामिल हैं। उनके वनडे में जोड़ी के रूप में एक साथ खेलते हुए सात साल हो चुके हैं और इस बार विश्व कप उनके लिए भारत को चैंपियन बनाने का शानदार मौका है।
इंग्लैंड की पिचों पर अच्छी ओपनिंग बहुत जरूरी है जिससे बाद के बल्लेबाजों पर दबाव कम हो जाता है। 101 मैचों का अनुभव रखने वाली यह जोड़ी भारत की उम्मीदों के लिए महत्वपूर्ण रहेगी।