Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia

अडाणी मामले में एक्शन में सेबी, हिंडनबर्ग को भेजा कारण बताओ नोटिस

अडाणी मामले में एक्शन में सेबी, हिंडनबर्ग को भेजा कारण बताओ नोटिस

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

, मंगलवार, 2 जुलाई 2024 (09:25 IST)
Sebi notice to hindenburg : भारतीय पूंजी बाजार नियामक सेबी (Securities and Exchange Board of India) ने अमेरिकी ‘शॉर्ट-सेलर’ एवं निवेश शोध कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च को अडाणी समूह के शेयरों पर दांव लगाने में उल्लंघन को लेकर कारण बताओ नोटिस जारी किया है। हिंडनबर्ग ने अडाणी समूह पर शेयरों के भाव में हेराफेरी और वित्तीय गड़बड़ियों का आरोप लगाया था।
 
अमेरिकी कंपनी ने बताया कि सेबी ने उसे कारण बताओ नोटिस जारी किया है। उसने इस नोटिस को बेतुका और 
पूर्व-निर्धारित उद्देश्य की पूर्ति के लिए गढ़ा गया बताया। उसने कहा कि यह कि भारत में सबसे शक्तिशाली व्यक्तियों द्वारा किए गए भ्रष्टाचार और धोखाधड़ी को उजागर करने वालों को चुप कराने और डराने का प्रयास है।
 
उल्लेखनीय है कि अमेरिकी वित्तीय शोध कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने जनवरी 2023 में एक रिपोर्ट में अडाणी समूह पर शेयर मूल्य में हेराफेरी के आरोप लगाए थे। शार्ट सेलर हिंडनबर्ग की एक रिपोर्ट ने शेयरों में गड़बड़ी और लेखा धोखाधड़ी के आरोप लगाकर न सिर्फ अडाणी की साख करारा झटका दिया बल्कि उनकी संपत्ति को भी खासा नुकसान पहुंचाया। कंपनी को इस झटके से उबरने में 1 साल का समय लगा। 2023 के अंत में अडाणी समूह को हिंडनबर्ग के आरोपों से छुटकारा मिल गया।
 
क्या थे हिंडनबर्ग के अडाणी पर आरोप : 24 जनवरी 2023 को हिंडनबर्ग रिसर्च ने अदाणी ग्रुप के खिलाफ एक रिपोर्ट जारी की थी। इस रिपोर्ट में अदाणी ग्रुप पर कई आरोप लगाए गए थे। हिंडनबर्ग रिसर्च ने अदाणी ग्रुप पर स्टॉक मैनिपुलेशन का आरोप लगाया था। अडाणी ग्रुप पर फर्म मनी लाउंड्रिंग और अकाउंटिंग फ्रॉड के भी आरोप लगाए गए।
 
रिपोर्ट में यह भी आरोप लगाया गया था कि अदाणी ग्रुप की 7 कंपनियों के शेयर में 85 फीसदी तक की तेजी आई यानी स्कॉय रॉकेट वैल्यूएशन हुआ है। फर्म ने दावा किया था कि अदाणी ग्रुप पर 2.20 लाख करोड़ रुपये का कर्ज है।
Edited by : Nrapendra Gupta 

Share this Story:

Follow Webdunia gujarati

આગળનો લેખ

IMD ने बताया, जुलाई में कैसा रहेगा मौसम, कहां मंडरा रहा है बाढ़ का खतरा?