Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia

अमेरिकी चिकित्सा जासूसों ने पहले ही भांप लिया था कोरोना का खतरा

अमेरिकी चिकित्सा जासूसों ने पहले ही भांप लिया था कोरोना का खतरा
, गुरुवार, 16 अप्रैल 2020 (14:58 IST)
वाशिंगटन। फरवरी के अंत में जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अमेरिकियों से कोरोना वायरस को लेकर नहीं घबराने का अनुरोध कर रहे थे तो वाशिंगटन के उत्तर में महज एक घंटे की दूरी पर स्थित अमेरिकी सेना के अड्डे पर स्थित खुफिया ईकाई में चिंता की लकीरें उभर आई थीं।
 
नेशनल सेंटर फॉर मेडिकल इंटेलीजेंस में खुफिया, विज्ञान और चिकित्सा पेशेवर चुपचाप दशकों से चल रहा अपना काम कर रहे थे यानी अमेरिकी सेना को जोखिम में डालने वाले वैश्विक स्वास्थ्य खतरों पर नजर रख रहे थे।
 
चिकित्सा खुफिया ईकाई ने 25 फरवरी को चेतावनी दी थी कि कोरोना वायरस 30 दिनों के भीतर एक वैश्विक महामारी बन जाएगा और उसके अपने खतरे का स्तर भी बढ़ा दिया था।
 
इसके महज 15 दिन बाद विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कोरोना वायरस को तेजी से फैल रही वैश्विक महामारी घोषित कर दिया था।
 
चेतावनी के समय अमेरिका में कोरोना वायरस के बहुत कम मामले सामने आए थे। उसी दिन नई दिल्ली में मौजूद ट्रंप ने ट्वीट किया था, ‘कोरोना वायरस अमेरिका में काफी हद तक नियंत्रण में है।‘ हालांकि, इसके फौरन बाद यह संक्रामक रोग दुनियाभर में फैल गया।
 
यह केंद्र अपना काम स्वास्थ्य एवं मानवीय सेवा मंत्री समेत रक्षा और स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ साझा करता है।
 
न्यूजवीक की एक खबर के मुताबिक 25 फरवरी की चेतावनी के बारे में ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ को जानकारी दी गई थी लेकिन यह अभी मालूम नहीं है कि क्या ट्रंप या व्हाइट हाउस के अन्य अधिकारियों ने इसे देखा था। (भाषा) 

Share this Story:

Follow Webdunia gujarati

આગળનો લેખ

कानपुर में पिता ने पहले बेटे को और फिर खुद को किया मौत के हवाले..