कोरोना महामारी (Corona Virus) के चलते लॉकडाउन है और इस लॉकडाउन के कारण गरीब और मजदूर तबके को दो वक्त की रोटी का संकट खड़ा हो गया है। उसी को देखते हुए मध्यप्रदेश के नीमच शहर की पुलिस कोरोना वॉरियर बनी। मंगलवार को जिले के पुलिस कप्तान मनोज रॉय ने खुद अपने हाथो से 108 गरीब और मजदूर परिवारों को 10 दिन का राशन और दवाएं बांटी।
इसके अलावा राजस्थान राज्य ने अपने यहां मौजूद एमपी के अलग-अलग जिलों से आए 1100 से अधिक मजदूरों को अचानक बॉर्डर पर लाकर छोड़ दिया था। अब नीमच की पुलिस इनकी निगेहबान है और इन्हे बसों द्वारा इनके घर पहुंचाया जा रहा है।
अपनी जान की परवाह किए बिना एसपी मनोज रॉय, एएसपी राजीव मिश्रा और सीएसपी आरएम शुक्ला खुद हाट मैदान की बस्ती में पहुंचे और 10 दिनों के लिए राशन के पैकेट वितरित किए।
इस दौरान एसपी मनोज रॉय ने हर व्यक्ति को समझाइश देते हुए कहा की वे घर से बाहर नहीं निकलें और घर की साफ़-सफाई करें साथ ही बार-बार हाथ धोएं।
एसपी मनोज रॉय ने बताया की पुलिस ने इन 108 परिवारों को 10 दिन का राशन, होम्योपैथी की 3 दिन की दवाएं दीं साथ ही इन परिवारों के लिए पुलिस ने एक नोडल अधिकारी भी नियुक्त किया है, जो सुबह-शाम यहां आएंगे और इनकी ज़रूरत का दूध उपलब्ध करवाएंगे।
एसपी रॉय ने यह भी कहा की हमने बस्ती वालों को समझाइश दी है कि वे लॉकडाउन का पालन करें और घर में ही रहें। उन्होंने यह भी कहा कि अब नीमच शहर में आज से नो व्हीकल झोन घोषित किया जा रहा है ताकि छूट के दौरान लोग बेवजह वाहन लेकर नहीं घूमें।
एएसपी राजीव मिश्रा ने बताया कि हमने राजस्थान सरकार द्वारा बॉर्डर पर छोड़े गए मध्यप्रदेश के मजदूरों को स्कूल में ठहराया है और इनके भोजन का इंतज़ाम भी किया है। अब इन्हें 20 बसों द्वारा इनके घर पहुंचाया जा रहा है।