Webdunia - Bharat's app for daily news and videos

Install App

बड़े मियां छोटे मियां को 100 करोड़ रुपये का नुकसान, जानिए फ्लॉप होने के 5 कारण

अक्षय कुमार और टाइगर श्रॉफ का स्टारडम के बावजूद बॉक्स ऑफिस पर डूब गई फिल्म

समय ताम्रकर
मंगलवार, 23 अप्रैल 2024 (07:02 IST)
अक्षय कुमार और टाइगर श्रॉफ की फिल्म 'बड़े मियां छोटे मियां' का बॉक्स ऑफिस पर पहले शो से ही दम निकल गया। भारी-भरकम बजट, स्टार कलाकार, जोरदार एक्शन और अली अब्बास ज़फर जैसा काबिल निर्देशक भी फिल्म को डूबने से नहीं बचा पाया। यहां तक की फिल्म की बॉक्स ऑफिस पर ओपनिंग भी बेहद कमजोर रही। फिल्म का लाइफ टाइम कलेक्शन 50 करोड़ के आसपास सिमट जाएगा जबकि फिल्म को अपनी लागत वसूलने के लिए सिनेमाघरों से 225 करोड़ रुपये का कलेक्शन जरूरी था। अब फिल्म के सैटेलाइट और ओटीटी राइट्स के लिए भी कम कीमत मिलेगी। फिल्म को लगभग 100 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। फिल्म क्यों फ्लॉप हुई? समझते हैं 5 कारणों से।  
 
1) अक्षय और टाइगर श्रॉफ का फीका होता स्टारडम 
अक्षय कुमार और टाइगर श्रॉफ की पिछली कुछ फिल्में बॉक्स ऑफिस पर बुरी तरह से असफल रही हैं। टाइगर एक जैसी एक्शन मूवीज़ करते जा रहे हैं। उनकी फिल्मों में कोई विविधता नजर नहीं आ रही है लिहाजा दर्शकों ने उनकी फिल्मों से दूरी बना ली है। दूसरी ओर अक्षय कुमार ने फ्लॉप फिल्मों की लाइन लगा दी है। उनका जादू दर्शकों पर फिलहाल नहीं चल रहा है। इसलिए दोनों सितारे भीड़ खींचने में कामयाब नहीं हो पाए। 

 
2) अविश्वसनीय कहानी 
अंग्रेजी फिल्मों की स्टाइल में बनाई गई बड़े मियां छोटे मियां में एआई, करण कवच, इनविजीबल टेक्नोलॉजी शील्ड, क्लोन, प्रलय, चीन, पाकिस्तान जैसी कई बातें डाल दी गई हैं। ये बातें अविश्वसनीय लगती हैं। मनोरंजन न हो तो दर्शक तर्क करने लगते हैं और फिल्म इस मोड़ पर आकर बचकानी लगती है। 

 
3) सिर्फ एक्शन, न कॉमेडी न रोमांस
एक्शन पर इतना ज्यादा फोकस किया गया कि रोमांस और कॉमेडी को भूला ही दिया गया। फिल्म में दो-तीन हीरोइनें हैं, लेकिन रोमांस नदारद है। अक्षय बढ़िया कॉमेडी करते हैं, लेकिन हास्य सीन नहीं रचे गए हैं। एक समय के बाद एक्शन सीन रिपीटेटिव हो जाते हैं और बोर करने लगते हैं। एक्शन और स्टंट्स से लबरेज फिल्में ठोस कहानी के अभाव में तब अपील करती है जब फिल्म की लंबाई दो घंटे से कम हो। पौने तीन घंटे तक कुछ ज्यादा ही हो गए।  

 
4) अली अब्बास ज़फर ने प्रयोगशाला बना डाला 
अली अब्बास ज़फर ने सुल्तान, मेरे ब्रदर की दुल्हन जैसी कुछ उम्दा फिल्में बनाई हैं, लेकिन बड़े मियां छोटे मियां में उन्होंने इतने ज्यादा प्रयोग कर डाले कि दर्शकों का फिल्म से संपर्क ही टूट गया। उन्होंने फिल्म को जेट स्पीड से भगाया है ताकि दर्शकों को ज्यादा सोचने का मौका नहीं मिले, लेकिन कमजोर राइटिंग और निर्देशन के कारण फिल्म जल्दी ही हांफने लगती है। एक्शन फिल्म के नाम कर कुछ नया करने का प्रयोग सफलता हासिल नहीं कर पाया। यदि स्क्रीन प्ले पर अली अब्बास ज़फर ध्यान देते तो फिल्म बेहतर बन सकती थी।
 
5) बजट बना खलनायक 
अक्षय कुमार और टाइगर श्रॉफ को लेकर इतनी महंगी फिल्म बनाना भारी पड़ गया। दोनों कलाकारों ने तगड़ी फीस वसूली। कहा जा रहा है कि अक्षय कुमार ने 100 करोड़ रुपये और टाइगर श्रॉफ ने करीब 35 करोड़ रुपये फीस वसूली जिससे फिल्म का बजट बहुत ज्यादा हो गया। अक्षय कुमार की सुपरहिट फिल्म के लिए भी 225 करोड़ रुपये तक पहुंचना मुश्किल हो जाता है। फिल्म के निर्माण में खूब पैसा बहाया गया, लेकिन वो सब बह गया।

सम्बंधित जानकारी

बॉलीवुड हलचल

दिवाली के मौके पर सिनेमाघरों में धमाका करने जा रही भूल भुलैया 3, जानिए क्यों है मस्ट वॉच मूवी!

विनीत कुमार सिंह की पॉलिटिकल थ्रिलर मैच फिक्सिंग का ट्रेलर हुआ रिलीज

रॉकस्टार डीएसपी द्वारा कंपोज कंगुवा का दूसरा गाना योलो हुआ रिलीज

Bigg Boss 18 : नंबर 1 रैंकिंग पाने के लिए भिड़ेंगे घरवाले, शहजादा धामी और रजत दलाल की हुई बहस

जिमी शेरगिल और अविनाश तिवारी के साथ सिकंदर का मुकद्दर में नजर आएंगी तमन्ना भाटिया

सभी देखें

जरूर पढ़ें

स्त्री 2 फिल्म समीक्षा : विक्की की टीम का इस बार सरकटा से मुकाबला

खेल खेल में मूवी रिव्यू: अक्षय कुमार की कॉमिक टाइमिंग जोरदार, लेकिन ‍क्या फिल्म है मजेदार?

वेदा फिल्म समीक्षा: जातिवाद की चुनौती देती जॉन अब्राहम और शरवरी की फिल्म | Vedaa review

औरों में कहां दम था मूवी रिव्यू: अजय देवगन और तब्बू की फिल्म भी बेदम

Kill movie review: खून के कीचड़ से सनी सिंगल लोकेशन थ्रिलर किल

આગળનો લેખ
Show comments