Webdunia - Bharat's app for daily news and videos

Install App

क्यों नहीं करते एक ही गोत्र में विवाह, जरूर पढ़ें यह विश्लेषण

पं. हेमन्त रिछारिया
पं. हेमंत रिछारिया 

आपने विवाह संबंधों की चर्चा के दौरान अक्सर यह सुना होगा कि अमुक विवाह इसलिए नहीं हो पाया, क्योंकि वर और कन्या सगोत्री थे। कुछ लोग इसे महज एक रूढ़ि मानते हैं तो कई इसका बढ़ा-चढ़ाकर प्रचार करते हैं। 
 
वास्तविक रूप में सगोत्र विवाह निषेध चिकित्सा विज्ञान की 'सेपरेशन ऑफ जींस' की मान्यता पर आधारित है। कई वैज्ञानिक अनुसंधानों के बाद यह निष्कर्ष प्राप्त किया गया है कि यदि करीब के रक्त संबंधियों में विवाह होता है तो अधिक संभावना है कि उनके जींस (गुणसूत्र) अलग न होकर एक समान ही हों। 
 
एक समान जींस होने से उनसे उत्पन्न होने वाली संतान को कई गंभीर बीमारियों जैसे हीमोफीलिया, रंग-अंधत्व आदि के होने की आशंका बढ़ जाती है इसलिए हमारे शास्त्रों द्वारा सगोत्र विवाह निषेध का नियम बनाया गया था किंतु कई समाजों में निकट संबंधियों में विवाह का प्रचलन होने के बावजूद उन दंपतियों से उत्पन्न हुई संतानों में किसी भी प्रकार की गंभीर बीमारी नहीं पाई गई।

ALSO READ: हिन्दू धर्म का ज्योतिष विद्या से क्या कोई संबंध है?
 
मेरे देखे वर्तमान समय में इस प्रकार के नियमों को उनके वास्तविक रूप में देखने की आवश्यकता है। यह नियम यदि वैज्ञानिक अनुसंधानों पर आधारित होकर यदि केवल रक्त संबंधियों तक ही सीमित रहे तो बेहतर है किंतु देखने में आता है कि सगोत्र विवाह निषेध के नाम पर ऐसे रिश्तों को भी नकार दिया जाता है जिनसे पीढ़ी-दर-पीढ़ी में कोई रक्त संबंध नहीं रहा है। 
 
अत: वर्तमान चिकित्सा विज्ञान वाले युग में इस प्रकार के नियमों के पीछे छिपे उद्देश्यों को उसके वास्तविक रूप में देखना व समझना अतिआवश्यक है।

सम्बंधित जानकारी

ज़रूर पढ़ें

इस धनतेरस अपनी राशि के अनुसार खरीदें ये वस्तुएं, लक्ष्मी माता की कृपा से हमेशा भरी रहेगी तिजोरी

गुरु पुष्य योग में क्यों की जाती है खरीदारी, जानें महत्व और खास बातें

दिवाली क्यों मनाई जाती है? जानें इतिहास, महत्व और कहानी

जानिए सोने में निवेश के क्या हैं फायदे, दिवाली पर अच्छे इन्वेस्टमेंट के साथ और भी हैं कारण

किसके लिए नया सप्ताह रहेगा लकी, पढ़ें 12 राशियों का साप्ताहिक राशिफल

सभी देखें

नवीनतम

24 अक्टूबर 2024 : आपका जन्मदिन

24 अक्टूबर 2024, गुरुवार के शुभ मुहूर्त

Diwali 2024: धनतेरस और दिवाली पर वाहन खरीदनें के सर्वश्रेष्ठ शुभ मुहूर्त | Date-time

Guru Pushya Yoga 2024: गुरु पुष्य नक्षत्र के समय वाहन और सोना खरीदी का शुभ मुहूर्त

Mangal Gochar : मंगल का होगा कर्क राशि में गोचर, 3 राशियों के जीवन में खड़ी होंगी परेशानियां

આગળનો લેખ
Show comments