Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
मंगलवार, 15 अक्टूबर 2024
webdunia

Simha sankranti 2024: सिंह संक्रांति का क्या होगा देश और दुनिया पर असर और उपाय

सिंह संक्रांति पर कर लें ये 5 अचूक उपाय और सभी संकटों से मुक्ति पाएं

Simha sankranti 2024

WD Feature Desk

, शुक्रवार, 16 अगस्त 2024 (11:30 IST)
Singh sankranti 2024 : सूर्य के सिंह राशि में प्रवेश करने को सिंह संक्रांति कहते हैं। 16 अगस्त 2024 शुक्रवार के दिन सूर्यदेव सिंह राशि में गोचर करेंगे। तुला, कर्क और धनु राशि पर इसका सकारात्मक असर होगा। सूर्य देव 16 अगस्त को शाम 7:32 बजे कर्क राशि से निकलकर सिंह राशि में प्रवेश करेंगे। इसलिए कुछ ज्योतिष मतानुसार सिंह संक्रांति पर सूर्य को 17 अगस्त प्रात: अर्घ्य अर्पित करें और इसी दिन संक्रांति मनाएं। सूर्यदेव इस राशि में वे 1 माह तक रहेंगे। इसका देश और दुनिया पर जबरदस्त असर होगा, जानिए प्रभाव और उपाय। 
 
उल्लेखनीय है कि सिंह संक्रांति को उत्तराखंड में घी संक्रांति या ओल्गी संक्रांति कहते हैं।
 
सिंह संक्रांति का पुण्यकाल: दोपहर 12 बजकर 25 मिनट से शाम 07 बजकर 01 मिनट तक।
सिंह संक्रांति का महापुण्य काल: शाम 04 बजकर 49 मिनट से शाम 07 बजकर 01 मिनट तक।
सिंह संक्रांति का क्षण: शाम 07 बजकर 54 मिनट तक।
 
सूर्य संक्रांति का प्रभाव:
  • इस संक्रांति के चलते महंगाई स्थिर रहेगी। 
  • अनाज भण्डारण में वृद्धि होगी। वस्तुओं के दाम नहीं बढ़ेंगे।
  • लोगों में भय और चिंता का माहौल रहेगा।
  • अराजगता और आंदोलन से अस्थिरता रहेगी।
  • छोटे कार्य करने वालों के लिए यह संक्रान्ति अच्छी है।
  • लोगों की सेहत में लाभ होगा। 
  • दो राष्ट्रों के बीच तनाव कब होगा।
 
सिंह संक्रांति के उपाय :
1. सूर्य को अर्घ्य दें : धार्मिक दृष्टि से, सिंह संक्रांति की तिथि अति शुभ मानी जाती है और इस दिन भगवान सूर्य की पूजा करना श्रेष्ठ होता है। इसलिए इस दिन सूर्य पूजा के साथ ही सूर्यदेव को अर्घ्य अर्पित करें। 
 
2. दान: अगर किसी व्यक्ति की कुंडली में सूर्य दोष है, तो सिंह संक्रांति के दिन सूर्य से जुड़ी वस्तुओं जैसे तांबा, गुड़, लाल वस्त्र, लाल रंग, लाल चंदन आदि का दान करें।
 
3. दीपदान : इस दिन आटे का दीपक को जल में प्रवाहित करते हैं। सूर्य संक्रांति के दिन आटे से दीपक बनाकर शुभ मुहूर्त में नदी में प्रवाहित करना चाहिए। इससे मनुष्य के जीवन से सभी तरह के संकट नष्ट हो जाते हैं।
 
4. पितृ तर्पण : इस दिन पितरों को जल से तर्पण दें। इससे पितृदोष दूर होगा और जीवन में आ रही सभी तरह की बाधाएं दूर होगी।

Share this Story:

Follow Webdunia gujarati

આગળનો લેખ

Aaj Ka Rashifal: 16 अगस्त 2024 का दैनिक राशिफल, जानें कैसा बीतेगा आज आपका दिन